भोपाल
प्रदेश के विभिन्न जिलों में कांग्रेस के नए अध्यक्ष अगले माह तय हो जाएंगे। संगठन सृजन अभियान के तहत केंद्रीय पर्यवेक्षक अगले चार दिन में छह-छह नामों का पैनल तैयार कर रिपोर्ट के साथ केंद्रीय संगठन को सौंप देंगे। इसके आधार पर प्रत्येक जिले के लिए दो-दो व्यक्ति छांटकर साक्षात्कार के लिए बुलाए जाएंगे। पार्टी का प्रयास है कि जुलाई में यह प्रक्रिया पूरी हो जाए। अगस्त में इन्हें भोपाल बुलाकर प्रदेश कांग्रेस के पदाधिकारियों द्वारा प्रशिक्षण दिया जाएगा।
इसमें संगठन में काम करने के तौर-तरीके बताए जाएंगे। बता दें, प्रदेश में कांग्रेस जिला अध्यक्ष चुनने की यह प्रक्रिया गुजरात की तर्ज पर हो रही है। केंद्रीय पर्यवेक्षकों ने जिला और ब्लाॅक कांग्रेस के पदाधिकारियों-कार्यकर्ताओं से संवाद करने के साथ अपने स्तर पर भी फीडबैक जुटाया है। इसमें जातिगत और स्थानीय समीकरण देखे गए।
वरिष्ठ नेताओं से राय ली गई। इसके आधार पर पैनल तैयार किया गया है। प्रत्येक जिलों के पैनल में एससी-एसटी, अतिरिक्त पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) और महिलाओं का नाम शामिल है। सूत्रों का कहना है कि कुछ जिलों में वर्तमान अध्यक्षों के नाम भी प्रस्तावित किए गए हैं।
प्रयास यह है कि अधिकतर जिलों में ऐसा नया नेतृत्व तैयार हो, जिसमें सबको साथ लेकर चलने की और पार्टी की विचारधारा के लिए संघर्ष करने की क्षमता हो। दरअसल, कांग्रेस में अब जिला अध्यक्षों को अधिकार संपन्न बनाया जा रहा है। नगरीय निकाय से लेकर लोकसभा चुनाव के प्रत्याशी चयन में जिला अध्यक्षों की भूमिका रहेगी। जिले में कोई भी गतिविधि उनके संज्ञान में लाए बिना नहीं होगी।

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